Tuesday, July 15, 2025
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आईएमएस में कार्यशाला का आयोजन

संदिप कुमार गर्ग


नोएडा। सेक्टर 62 स्थित आईएमएस नोएडा में मोबाइल जर्नलिज्म पर एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन हुआ। पत्रकारिता और जनसंचार विभाग के द्वारा आयोजित कार्यशाला के दौरान बतौर प्रशिक्षक एनडीटीवी के सीनियर स्पेशल कॉरस्पॉडेंट मोजो एक्सपर्ट रवीश रंजन शुक्ला ने छात्रों को खबरों की दुनिया में तेजी से हो रहे तकनीकी बदलाव से अवगत कराया। वहीं कार्यक्रम के दौरान संस्थान के महानिदेशक प्रोफेसर डॉ.विकास धवन, डीन प्रोफेसर डॉ. नीलम सक्सेना के साथ शिक्षक एवं छात्रों ने अपनी उपस्थिति दर्ज करायी।

कार्यशाला की शुरुआत करते हुए संस्थान के महानिदेशक प्रोफेसर (डॉ.) विकास धवन ने कहा कि आज पत्रकारिता का स्वरूप तेजी से बदल रहा है। तकनीक के निरंतर विकास के साथ-साथ समाचारों के संकलन, निर्माण और प्रस्तुति के तरीके भी अधिक डिजिटल और गतिशील हो गए हैं। ऐसे में मोबाइल जर्नलिज्म जैसे नए प्लेटफॉर्म का ज्ञान और उनके व्यावहारिक प्रयोग की समझ छात्रों के लिए न सिर्फ जरूरी है, बल्कि उनके करियर को भी नई दिशा प्रदान करता है। वहीं डीन प्रोफेसर (डॉ.) नीलम सक्सेना ने कहा कि आज मोबाइल जर्नलिज्म पत्रकारिता को अधिक सुलभ, त्वरित और प्रभावशाली बना रहा है। ऐसे प्लेटफॉर्म छात्रों को न केवल तकनीकी रूप से सशक्त बनाते हैं, बल्कि उन्हें अपने विचारों और रचनात्मकता को स्वतंत्र रूप से अभिव्यक्त करने का अवसर भी प्रदान करते हैं।

कार्यशाला के दौरान रवीश रंजन शुक्ला ने पत्रकारिता के छात्रों को खबरों की दुनिया में तेजी से हो रहे तकनीकी बदलाव के विभिन्न आयामों के बारे में बताया। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि मोबाइल जर्नलिज्म की शुरुआत 2005 में अमेरिका से हुई। इसके बाद भारत में एनडीटीवी ने सबसे पहले मोबाइल जर्नलिज्म की शुरुआत की। उन्होंने बताया कि मोबाइल जर्नलिज्म पत्रकारिता की एक ऐसी विधा है, जो आज हर व्यक्ति को उसके आसपास हो रही घटनाओं और समस्याओं को लोगों के सामने और जिम्मेदारों के सामने रखने का अवसर दिया है। मोबाइल जर्नलिज्म आज स्वतंत्र पत्रकारिता करने की एक महत्वपूर्ण विद्या के रूप में उभरा है। हालांकि पेशेवर तौर पर मोबाइल जर्नलिज्म के लिए तकनीकी रूप से कुछ खास सॉफ्टवेयर और गिंबल्स चलाने की जानकारी होना जरूरी है।

उन्होंने पत्रकारिता के छात्रों को एक अच्छा पत्रकार बनने के लिए निरंतर तौर पर शोध और अध्ययन करने, परिश्रम, ईमानदारी और हमेशा देश और दुनिया में हो रही घटनाओं के प्रति जागरूक रहने के लिए कहा। इस मौके पर कार्यक्रम में पत्रकारिता विभाग के विभागाध्यक्ष प्रोफेसर डॉक्टर सचिन बत्रा के साथ सभी संकाय सदस्य उपस्थित रहे।

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