राम नरेश
पटना। बिहार सरकार के पीएचईडी विभाग ने बिहार में करीब 826 करोड़ के टेंडर को रद्द कर दिया है। जानकारी के अनुसार बिहार सरकार ने आरजेडी कोटे के विभागों से अलॉट टेंडरों को रद्द करने का फैसला लिया।
बिहार में जांच में अनियमितता मिलने के बाद 826 करोड़ के सरकारी अनुबंध को रद्द कर दिया है। एनडीए से पहले पिछली महागठबंधन की सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल आपूर्ति के लिए 350 ठेके दिए थे।
बिहार की राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सरकार ने जांच के दौरान अनियितताएं मिलने जाने के बाद 826 करोड़ रुपये के सरकारी अनुबंधों को रद्द कर दिया है।
राजद की भागीदारी वाली पिछली महागठबंधन सरकार में ये 350 ठेके ग्रामीण क्षेत्रों में सुरक्षित पेयजल की आपूर्ति के लिए दिए गए थे।
राज्य के लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग मंत्री नीरज कुमार सिंह ने बताया कि विभागीय जांच से पता चला कि राज्य में पिछली सरकार के दौरान ग्रामीण जलापूर्ति व्यवस्था से जुड़े 350 ठेकों के आवंटन में उचित प्रक्रिया का पालन नहीं किया गया था।
ये ठेके हैंडपंप, मिनी जलापूर्ति व्यवस्था आदि की स्थापना से संबंधित थे। जांच रिपोर्ट मिलने के बाद पीएचईडी मंत्री ने वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक बुलाई, जिसमें ठेकों को रद्द करने का फैसला किया गया।
नीरज कुमार ने बताया, विभाग ने इन ठेकों से जुड़ी प्रारंभिक जांच रिपोर्ट राज्य सरकार के सक्षम प्राधिकारी को सौंप दी है, ताकि गहन जांच हो सके। इस मामले में जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
पिछली महागठबंधन सरकार के दौरान राजद नेता ललित यादव पीएचईडी मंत्री थे। नीरज सिंह ने बताया कि पिछली सरकार ने 17 महीनों में पीएचईडी विभाग के 4600 करोड़ रुपये के कुल 1160 ठेके दिए थे। बाकी अनुबंधों की भी जांच की जा रही है।
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